मंगलवार, 4 अगस्त 2020

सिन्धु युवा विंग,,,एक दिया कौशल्या के राम के नाम सिंधु भवन दुर्ग के पास

*जय श्री राम*
🚩🚩🚩🚩
*सिंधु युवा विंग*
द्वारा
कल भगवान श्रीराम जी के मंदिर शिलान्यास कार्यक्रम की खुशी में;
सिंधु भवन के सामने दीप प्रज्वलन, 
राम धुन, आतिशबाजी और मिठाई वितरण का कार्यक्रम आयोजित किया गया है।

आप सभी सादर आमंत्रित हैं 🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

सिंधु सभा की इकाईयां देश भर भूमिपूजन के उत्सव में दीये जलाएंगे

सेवा         संगठन           संस्कार   
      *भारतीय   सिन्धू   सभा*
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अयोध्या में होने वाले भगवान श्रीराम मन्दिर के शिलान्यास समारोह के लिये प्रधानमंत्री का आभार व देशवासियों व समाज को बधाई ।
*देशभर में भारतीय सिंधु सभा ईकाइयों द्वारा किया जायेगा दीपोत्सव*
भारतीय सिंधु सभा युवा विंग के राष्ट्रीय अध्यक्ष रायपुर के सीए चेतन तारवानी ने राष्ट्र की प्रेस विज्ञप्ति को प्रस्तुत कर बताया 

3 अगस्त: भारतीय सिन्धू सभा की राष्ट्रीय कोर कमेटी की वर्चुअल बैठक में आगामी 5 अगस्त को अयोध्या में भगवान श्रीराम मन्दिर भूमि पूजन/शिलान्यास समारोह के लिये प्रधानमंत्री माननीय नरेन्द्र मोदी जी, उप्र के मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी व पूर्व उप प्रधानमंत्री श्री लालकृष्ण आडवाणी जी का आभार प्रकट किया गया । इस बैठक की अध्यक्षता राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री लधाराम नागवाणी जी (मुम्बई) ने की ।
    सभा के राष्ट्रीय महामंत्री भगवानदास सबनानी (भोपाल) ने कहा कि 500 वर्षाें के संघर्ष तथा लाखों बलिदानों के बाद आये ऐसे शुभ अवसर पर सभी संतो, महात्माओं व वरिष्ठजनों का सम्मिलित होना गर्व के साथ आंनद की अनुभूति देता है। सम्पूर्ण भारत में गठित सिन्धू सभा की समस्त ईकाईयों द्वारा देश के प्रमुख मन्दिरों, दरबारों में दीपोत्सव के साथ प्रसाद वितरण किया जायेगा । साथ ही अपने-अपने घरों व प्रतिष्ठानों पर भी दीपक जलाकर रोशनी की जायेगी ।
भा. सि. सभा की ओर से माननीय प्रधानमंत्री जी, उप्र के मुख्यमंत्रीजी व पूर्व उप-प्रधानमंत्री श्री लालकृष्ण आडवाणीजी को बधाई पत्र भी प्रेषित किया गया है।
सभा के कार्यकारी राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री भगतराम छाबडा  (कोल्हापुर) ने बताया कि समारोह में समाज की ओर से महामण्डलेश्वर हंसराम उदासीन, हरीशेवा सनातन आश्रम भीलवाडा व शादाणी दरबार रायपुर के संत युधिष्ठरलालजी भी सम्मिलित होंगे. कोर कमेटी मीटिंग में  राष्ट्रीय मंत्री महेन्द्र कुमार तीर्थाणी (अजमेर), राष्ट्रीय  कोषाध्यक्ष तुलसीभाई टेकवानी (अहमदाबाद), महिला विभाग  राष्ट्रीय अध्यक्ष  डॉ. मायाबेन कोडनानी (अहमदाबाद), केंद्रीय  कार्यालय मंत्री रेवाचंद नारवाणी (मुम्बई), ओम जेसवाणी (पुणे) उपस्थित थे।
                                                               (भगवानदास सबनानी)
राष्ट्रीय महामंत्री,
                                                                  मो. 9425014600

राष्ट्र की प्रेस विज्ञप्ति जारी कर्ता
सीए चेतन तारवानी 
9826122115 
राष्ट्रीय अध्यक्ष युवा विंग

जाम गांव M की शराब दुकान हटाई जाय और बन्द हो शराब -- सांसद विजय बघेल

एक खबर जाम गांव (m) शराब दुकान हटाने और बन्द करने के लिए सांसद विजय बघेल जी और उनके समर्थक खेमलाल साहू  ,लोकमनी चंद्राकर,लालेश्वर साहू ,(मोनू साहू जिला पंचायत सदस्य)हर्षा चंद्राकर, राजा पाठक  बसन्त चंद्राकर पुरषोतम तिवारी ,आशीष शर्मा ,कुणाल वर्मा,रवि सेंगर,पोषण वर्मा ,रवि ठाकुर व अन्य सेंकडो  भाजपाई कार्यकत्ता ,के साथ धरने पर बैठे।  पूरे जिले लॉक डाउन चल राहा है जिसके कारण सभी आवश्यक  वस्तुओं की दुकानें बंद है आस पास के इलाकों में शराब दुकाने बन्द होने के कारण जाम गांव m में शराब पीने वाले में भारी संख्या में आ रहे थे जिसके कारण इस छेत्र में कोरोना संक्रमण बढ़ने का खतरा हो गया है।
 भाजपाई धरने से पहले सांसद विजय बघेल के नेतृत्व में रैली के साथ शराब दुकान बंद करो का नारा लगाते हुए पहुंचे। पुलिस द्वारा आंदोलनकारियों को शनिदेव मंदिर के पास रोकने का प्रयास किया । लेकिन पुलिस द्वारा लगाए रस्सी को फाँदकर अंग्रेजी शराब दुकान के पास पहुंचे। इस दौरान कई लोगो ने मौके का फायदा उठाकर शराब लूटने का प्रयास भी किया। जिस पर पुलिस को लाठियां भांजनी पड़ी। कुछ देर बाद दोनों शराब दुकानों को बंद कर दिया गया। उसके बाद भी भाजपाई धरने पर बैठे 
सांसद विजय बघेल ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए कहा कि राज्य सरकार हरियाली के लिये पेड़ लगा रही है लेकिन जामगांव कि इस मैदान में हरियाली की जगह प्लास्टिक की घास उगी है ऐसा लग रहा है। लॉक डाउन में रायपुर, दुर्ग, भिलाई की शराब दुकानें है जिसके कारण यहाँ की भीड़ बढ़ गई है। लॉक डाऊन में सभी आवश्यक सेवा की दुकानों का एक निष्चित समय निर्धारित की गई लेकिन शराब दुकान के लिये सुबह 9 से रात 9 बजे तक का समय ये राज्य सरकार की कैसी लॉक डाउन है। मुख्यमंत्री के क्षेत्र होने के बाद भी जिला के कोई जिम्मेदार अधिकारी 5 घंटे बाद भी नही पहुंचे। मुख्यमंत्री के निर्देश पर सब संचालन हो रहा है। एक खबर

शदाणी तीर्थ से नवम पीठाधीश्वर सन्त श्री युधिष्ठिर लाल महाराज जी भुमि पूजन के लीये आयोध्या रवाना

(एक खबर )रायपुर अयोध्या मे राम मंदिर के भूमिपूजन 5 अगस्त को होने जा रहा है इस अवसर पर छत्तीसगढ़ से विश्व प्रसिद्ध शदाणी दरबार रायपुर के नवम पीठाधीश्वर पूज्य डाँ.संत श्री युधिष्ठिरलाल जी आज सुबह विमान से अयोध्या रवाना हुए उनके साथ उनके शिष्य भी गये। पूज्य छत्तीसगढ़ सिन्धी पँचायत ओर पूरे भारत के सभी भक्तगणों  ने संत जी से आशीर्वाद लेकर संत जी को भूमिपूजन में शामिल होने पर बधाई एवं शुभकामनाएं दी ।

आनंद राठी कोआत्महत्या के लिये प्रेरित करने वालो दोस्तो के खिलाफ करवाई हो --अशोक राठी

आनंद राठी को आत्महत्या के लिए प्रेरित करने वालो के खिलाफ मामला दर्ज हो -अशोक राठी ।दुर्ग ( एक खबर ) आनंद राठी ने आत्महत्या क्यो की क्या किसी के दबाव में  । में या फिर कोई उन्हें ब्लैकमेल कर राहा था । या फिर उनके पर्सनल लेनदेन में आत्महत्या के लिये उकसा राहा था ,,,आत्महत्या के लीये प्रेरित करना भी अपराध है ,,,मान लो आप का किसी की तरफ पैसा है । लीगल मतलब दुकानदारी का अनलीगल मतलब जुआ, सटटा, या मनी लांड्रिंग जो व्यापारी लोग खलते है और करते है ये अनलीगल है इसमें खेलने वाले ओर खिलाने वाले  दोनों दोषी होते है । क्या आनंद राठी किसी ऐसे gurp से जुड़े थे क्यो की लेने देने में अक्सर ऐसा होता है सामने वाला हावी हो जाता है ।आत्महत्या के लिए लोग विवश होते है । आनंद राठी के परिजनों ने आनंद के दोस्तो  व राजनंदगांव में रहने वाली युवती के खिलाफ करवाई की मांग की । दुर्ग भिलाई में लॉक डाउन के चलते लोंगो की आर्थिक स्थिति खराब हो गईं कोई भी किसी को धमका राहा पुलिस को कैसे पता लगे इसलिये लोंगो को पुलिस की सहायता लेनी चाहिये कानून कोई अपने हाथ मे नही ले सकता भले आपका किसी की तरफ पैसा हो आप उसके खिलाफ कंपलेंट करे उससे कानूनी रूप से अपना पैसा वसूले उसे सजा दिलाये पर कानून अपने हाथ मे न ले किसी ने आपके खिलाफ ये रिपोर्ट लिखवादी की में अमुक व्यक्ति का कर्जदार हूँ वो मुझे आत्महत्या के लीये प्रेरित कर राहा है मानिसक रूप से टार्चर कर राहा है तो आपके खिलाफ कानूनी धराये लग सकती है आप अंदर हो सकते है ,,,एक खबर विनोद मेघवानी

राम भगवान कांग्रेस के भी है --- कांग्रेस विधायक विकास उपाध्यक्ष

राम लला की जय जयकार ,,पूरा हुआ राजीव गांधी का सपना साकार  । रायपुर में  कांग्रेस सरकार के विधायक विकास उपाध्यक्ष ने राम मंदिर बनने की खुशी में पोस्टर लगवाये ।जिसे विधायक ब्रजमोहन अग्रवाल ने राजनीति बताया काहा की मन्दिर निर्माण में कांग्रेस पहले कान्हा थी विकास उपाध्यक्ष ने काहा की 1986 से राम मंदिर के लीये कांग्रेस कार्य कर रही है आईये (एक खबर आप को पूरी जानकारी बताता है )जब राजीव ने खुलवाया था राममंदिर का ताला, शुरू कराई थी पूजा
 आज देश की सियासत और धर्म एक दूसरे से गहरे जुड़े हैं। हाल ही के दशकों में देश की सियासी ज़मीन पर जिस मुद्दे ने धर्म की फसल  तेज़ी से उगाई है वो मसला है आयोध्या में राम मंदिर का। यह एक ऐसा मुद्दा है जिसने आधुनिक समय में देश की सियासत की दशा और दिशा दोनों बदल कर रख दीं। बीजेपी पिछले 28 साल से इस मुद्दे के साथ  चल रही है। लेकिन दिलचस्प ढंग से यह राजीव गांधी थे जिन्होंने विवादित स्थल पर न सिर्फ पूजा शुरू करवाई थी बल्कि राममंदिर का शिलान्यास तक करवा दिया था। तो आज चर्चा इसी  विवाद की जिसकी सियासत तो शीर्ष पर है लेकिन हल दूर दूर तक नज़र नहीं आ रहा।
बाबर से शुरू हुआ विवाद
आयोध्या  विवाद की शुरुआत 1528 की उस घटना से जोड़ी जाती है जिसमें बाबर ने रामजन्म स्थल पर मस्जिद का निर्माण कराया था। इसे लेकर हिन्दुओं में  असंतोष पैदा हुआ। यह गुस्सा 1853 में  विस्फोट बनकर पहली बार बाहर आया और आयोध्या में साम्प्रदायिक दंगे हुए। भारत उस समय अंग्रेजों का गुलाम था। विवाद बढ़ा तो ब्रिटिश शासकों ने विवादित स्थल की बाड़बंदी करा दी। बाद में  दोनों समुदायों को अलग-अलग हिस्सों में पूजा-इबादत की इज़ाज़त दे दी गयी। लेकिन मामला शांत  नहीं हुआ बल्कि सुलगता रहा।
पहली बार मंदिर की मांग
आयोध्या में विवादित स्थल पर पहली बार राम मंदिर निर्माण की बात 1885 में उठी थी। महंत रघुवर दास ने विवादित स्थल पर मंदिर निर्माण का प्रयास किया। प्रयास में बाधा आई तो उन्होने अदालत  का सहारा लेने की सोची। महंत रघुवर दस ने फैज़ाबाद की अदालत में मंदिर निर्माण के लिए अपील दायर कर दी। अपील बरसों सुप्तावस्था में रही। इसी बीच वर्ष 1949 में लगभग 50 हिंदुओं ने विवादित स्थल पर भगवान राम की मूर्ति रख दी और पूजा शुरू कर दी, इस घटना के बाद मुसलमानों ने वहां नमाज पढ़ना बंद कर दिया और सरकार ने विवादित स्थल पर ताला लगवा दिया। वर्ष 1950 में गोपाल सिंह विशारद ने फैजाबाद अदालत में भगवान राम की पूजा अर्चना के लिए विशेष इजाजत मांगी थी। उसी साल महंत परमहंस रामचंद्र दास ने हिंदुओं की पूजा जारी रखने के लिए एक अलग मुकदमा दायर किया। बाद में निर्मोही अखाड़े ने भूमि का मालिकाना हक़ उनके  पक्ष में करने को लेकर मुकदद्मा दायर किया। इसकी परिणति यह हुई कि 1961 में सुन्नी वक्फ बोर्ड भी मालिकाना हक़ की इस लड़ाई में कूद गया। 
जब शुरू हुई सियासत
अदालती दावों प्रतिदावों का प्रतिफल आने से पहले ही यह मामला चुनावी सियसत का शिकार हो गया। विश्व हिन्दू परिषद् ने 1984 में इसे लेकर आंदोलन छेड़ दिया। ऐसे में इंदिरा गांधी की हत्या की सुहानुभूति की लहर पर अकूत बहुमत लेकर सत्तासीन हुए राजीव गांधी को लगा कि कहीं यह मामला उनके खिलाफ न हो जाये इसलिए उन्होंने भी इसमें हाथ डाल दिया। वर्ष 1985 में राजीव गांधी ने विवादित स्थल का ताला खुलवा दिया। तब उन्हें सत्ता संभाले एक साल भी नहीं बीता था।   एक फरवरी 1986 को फैजाबाद के जिला न्यायाधीश ने विवादित स्थल पर हिंदओं को पूजा की इजाजत दे दी। इस घटना के बाद नाराज मुसलमानों ने बाबरी मस्जिद एक्शन कमेटी का गठन किया। चुनाव आते-आते राजीव गांधी ने विवादित स्थल के पास राम मंदिर का शिलान्यास भी करवा दिया, लेकिन अचानक यह मुद्दा उनके हाथ से बीजेपी ने लपक लिया। बीजेपी ने विश्व हिन्दू  परिषद् के आंदोलन को समर्थन देते हुए इसे विशुद्ध रूप से सियासी मुद्दा बना दिया। 
बीजेपी का आंदोलन, विध्वंस और शेष 
वर्ष 1989 में हिमाचल प्रदेश के पालमपुर में हुए बीजेपी के अधिवेशन में  बाकायदा राम मंदिर निर्माण का संकल्प लिया गया। 25 सितंबर 1990 को लाल कृष्ण आडवाणी ने सोमनाथ मंदिर से आयोध्या तक रथ यात्रा शुरू कर दी। इस रथयात्रा के कारण  कई जगहों पर विवाद/दंगे हुए।  बिहार में लालू प्रसाद ने आडवाणी की रथयात्रा रोक दी और आडवाणी को गिरफ्तार कर लिया गया। इसकी गाज वीपी सिंह की सरकार पर गिरी। बीजेपी ने समर्थन वापस ले लिया और वीपी सिंह पूर्व प्रधानमंत्री हो गए। इसी बीच उत्तर प्रदेश में बीजेपी की कल्याण सिंह सरकार बनी जिसने विवादी भूमि को अपने कब्जे में ले लिया। इस बीच विवाद इतना बढ़ा की 6 दिसंबर 1992 को बाबरी विध्वंस प्रकरण। केंद्र ने लिब्राहन आयोग का गठन किया। वर्ष 2002 में विवाद सुलझाने के लिए तात्कालीन प्रधानमंत्री ने एक अयोध्या विभाग भी शुरू किया। 2002 में ही अयोध्या के विवादित स्थल पर हक को लेकर इलाहाबाद उच्च न्यायालय में तीन जजों की पीठ ने सुनवाई शुरू की। इलाहाबाद हाईकोर्ट के निर्देश पर भारतीय पुरातत्व विभाग ने अयोध्या में खुदाई की, जिसमें मस्जिद के नीचे मंदिर होने के प्रमाण मिले, लेकिन मुसलमानों ने इसे स्वीकार नहीं किया। 2009 में  लिब्रहान आयोग ने अपनी रिपोर्ट प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को सौंपी। 30 सितंबर 2010 को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने विवादित स्थल को तीन हिस्सों में बांटने का आदेश दिया। एक हिस्सा रामलला विराजमान, दूसरा सुन्नी वक्फ बोर्ड को और तीसरा निर्मोही अखाड़े को देने का आदेश दिया गया। इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले पर नौ मई 2011 को सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी और तबसे यह मामला सुप्रीम कोर्ट में है और अदालत के बाहर इस पर सियासत जारी है। छत्तीसगढ़ और देश मे राम मंदिर पर राजनीति शुरू हो गई है क्यो की छतीसगढ़ माता कौशल्या का मंदिर है जिसका पुननिर्माण छत्तीसगढ़ मुख्यमंत्री भूपेश बघेल करा रहे है राम भगवान  सबके है कांग्रेस के नेताओ का कहना है एक खबर ,,,विनोद मेघवानी

बंद कमरे में बनाए जाने वाले वीडियो से अंधी कमाई

Vinod raja meghwani (sampadak),,,, बन्द कमरे में बनाए जाने वाले वीडियो से  अंधी कमाई कितनी हे,,,?????